Modi का रिटायरमेंट प्लान तैयार, RSS ने दिखा दिया रेड सिग्नल
Modi का रिटायरमेंट प्लान तैयार, RSS ने दिखा दिया रेड सिग्नल !
मोदी का रिटायरमेंट प्लान तैयार आरएसएस ने दिखा दिया रेड सिग्नल मोदी की तस्वीर ने ही खोल दिया बड़ा राज दबाब में सरकार आडवाणी की राह पर चलते दिखाई दे रहे हैं मोदी लोकसभा चुनाव में बीजेपी को बड़ी हार मिली है 400 पार का दावा करने वाली बीजेपी बहुमत तक हासिल नहीं कर पाई है अब छोटे-छोटे दल जिन्हें एक या दो सीट मिली हैं उनके सहारे वो सरकार बना रही है लेकिन यह सरकार कब तक चलेगी सबसे पहले तो इसी पर सवाल उठने लगे हैं इन सबके बीच नरेंद्र मोदी को एनडीए का नेता चुन लिया गया है और इस बैठक की जो तस्वीर सामने आई है उसने अचानक से देश की राजनीति में हलचल मचा दी है लोगों को 10 साल पुरानी घटना याद आने लगी है जब नरेंद्र मोदी देश के पीएम बने थे और उसके बाद बीजेपी के सबसे लोकप्रिय नेता माने जाते रहे लालकृष्ण आडवाणी किनारे कर दिए गए दरअसल अब जो फोटो शेयर की जा रही है उन्हें अगर ध्यान से देखा जाए तो एक चीज साफ दिखाई दे रही है कि नरें रेंद्र मोदी जब एनडीए की बैठक में शामिल हुए तो वह सफेद कुर्ता पहने हुए हैं जिस पर वह हल्के हरे रंग की जैकेट पहने हुए हैं बैठक के वीडियो और फोटो तमाम मीडिया चैनलों ने लगातार दिखाए हैं तो सोशल मीडिया पर भी मोदी के इसी फोटो को एक और पुराने फोटो के साथ जोड़कर ट्रोल किया जा रहा है दूसरी फोटो में भी नरेंद्र मोदी दिखाई दे रहे हैं उनके साथ लाल कृष्ण आडवानी दिखाई दे रहे हैं अंतर इतना है कि जिस तरह के कपड़े नरेंद्र मोदी ने एनडीए की बैठक में पहने हुए थे वैसे ही कपड़े लालकृष्ण आडवानी पहने दिखाई दे रहे हैं सफेद कुर्ता और हल्के रंग की जैकेट पर आडवानी दिखाई दे रहे हैं तो मोदी उनके सामने झुके हुए हैं अब ये दोनों ही तस्वीरें सोशल मीडिया पर वायरल हो रही हैं लोग कमेंट कर रहे हैं कि एनडीए की बैठक में ही मोदी ने अपने रिटायरमेंट प्लान को देश की जनता के सामने रख दिया है यानी अब लाल कृष्ण आडवाणी के रास्ते पर बढ़ने की तैयारी मोदी कर रहे हैं वैसे भी नरेंद्र मोदी कि बीजेपी में यह नियम बनाया गया है कि नेता 75 साल का हो जाता है तो वह कोई भी बड़ी जिम्मेदारी नहीं लेता है उसे राजनीति से रिटायर कर दिया जाता है इसीलिए बीजेपी के तमाम नेताओं की नजरें पीएम के पद पर टिकी हुई हैं क्योंकि अगले साल ही नरेंद्र मोदी 75 साल के हो रहे हैं ऐसे में मोदी की बीजेपी के नियमों में उन्हें भी पीएम पद छोड़ना पड़ेगा नहीं तो यह माना जाएगा कि जो नियम पीएम मोदी ने बनाए थे वह सिर्फ पार्टी में अपने विरोधियों को किनारे लगाने के लिए बनाए थे यह नियम आडवाणी और जोशी जैसे नेताओं के लिए थे और शायद पीएम मोदी भी नहीं चाहेंगे कि इस तरह के आरोप उन पर लगाए जाएं और इसीलिए पीएम मोदी ने भी एनडीए की बैठक में संकेत दे दिए हैं कि जब वह 75 साल के होंगे तो वह चौकाने वाला फैसला कर सकते हैं ऐसे में सवाल उठ रहे हैं कि क्या मोदी खुद को आडवानी की कैटेगरी में रखने के लिए मानसिक रूप से तैयारी कर रहे हैं वैसे भी इस बार उनकी जो सरकार बन रही है उसे वह खुद भी मोदी सरकार नहीं बोल पा रहे हैं 4 जून को जब चुनाव परिणाम सामने आए थे तभी उन्होंने अपनी नई सरकार को एनडीए की सरकार कहना शुरू कर दिया था और इस दौरान पीएम मोदी के चेहरे पर दबाव भी साफ-साफ दिखाई दे रहा था
दरअसल दावा किया जा रहा है कि बीजेपी किसी भी कीमत पर सत्ता छोड़ने को तैयार नहीं है अगर सीटों की संख्या 1020 और कम हो जाती है तो बीजेपी अभी ही नरेंद्र मोदी को किनारे कर देती क्योंकि एनडीए में से जो दल बाहर गए हैं उसके लिए पीएम मोदी नीतियों को ही जिम्मेदार माना जा रहा है जिसमें अकाली दल एआईए डीएमके और शिवसेना यूपीटी सहित कई दल शामिल हैं